उन्हें बोलेरो वाहन की छत में शव ले जाने को मजबूर होना पड़ा था। मुख्यमंत्री इस घटना को लेकर चिंतित नजर आए। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि अस्वस्थता के कारण किसी मृतक व्यक्ति के परिजनों को दाह संस्कार में कठिनाई आ रही है तो संबंधित जिलों के जिलाधिकारी अपने स्तर से यह व्यवस्था सुनिश्चित करेंगे।
मुख्यमंत्री ने शीतकालीन चारधाम यात्रा के संबंध में भी इन स्थलों के पौराणिक महत्व एवं प्रभावी प्रचार-प्रसार के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि प्राचीन काल से ही इन स्थलों का अपना विशेष महत्व रहा है और श्रद्धालु इन स्थलों पर देवदर्शन करते हैं।
इन स्थलों पर दर्शन करने से भी वही पुण्य प्राप्त होता है जो नियमित यात्रा के दौरान होता है। शीतकाल में केदारनाथ की पूजा ओंकारेश्वर मंदिर, ऊखीमठ, बदरीनाथ की पूजा पांडुकेश्वर और नर्सिंग मंदिर जोशीमठ, यमुनोत्री की खरसाली और गंगोत्री की मुखवा में होती है।
बैठक में प्रमुख सचिव आरके सुधांशु, सचिव शैलेश बगोली, विनय शंकर पांडे, अपर पुलिस महानिदेशक एपी अंशुमन और उपाध्यक्ष एमडीडीए बंशीधर तिवारी उपस्थित थे।
धामी मंत्रिमंडल की बैठक कल
धामी मंत्रिमंडल की बैठक बुधवार को सचिवालय में होगी। इसमें राजस्व, परिवहन, शिक्षा, स्वास्थ्य, सहकारिता, पर्यटन, शहरी विकास, गृह, महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास, खेल एवं युवा कल्याण समेत विभिन्न विभागों से संबंधित महत्वपूर्ण निर्णयों पर मुहर लग सकती है। बैठक में राष्ट्रीय खेलों के आयोजन की रणनीति पर भी चर्चा हो सकती है। साथ ही खेलों की दृष्टि से अहम निर्णय लिए जा सकते हैं।